Updated: | Thu, 01 Oct 2020 05:50 AM (IST)
Gwalior Municipal Corporation ग्वालियर (नईदुनिया प्रतिनिधि)। विशेष सत्र न्यायालय ने नगर निगम के जल प्रदाय विभाग में हुए घोटाले के मामले में आरोपितों को आरोपों से मुक्त करने के आवेदन को खारिज कर दिया है। कोर्ट ने कहा कि आरोपितों ने धन कमाने का प्रयास किया है।
आरोप लगाने के लिए पर्याप्त साक्ष्य हैं। इसलिए 1 अक्टूबर को सभी आरोपित न्यायालय में उपस्थित रहें, जिससे उनके ऊपर लगाए गए आरोपों की जानकारी दी जा सके। वर्ष 2004 में नगर निगम के जल प्रदाय विभाग में संधारण कार्यों की करीब 1200 से अधिक फाइलें तैयार की गईं। इन फाइलों में 10 हजार से नीचे के काम स्वीकृत किए गए।
निगम ने खास ठेकेदारों को मेंटेनेंस का काम दिया था। जिस जगह हैंडपंप व पानी की लाइन का मेंटेनेंस बताया गया, वहां लाइनें नहीं थीं। लोकायुक्त पुलिस (विशेष स्थापना पुलिस) ने वर्ष 2017 में इस मामले में 11 लोगों के खिलाफ केस दर्ज कर चालान पेश किया। बीते दिनों कोर्ट ने आरोपितों के आवेदनों पर बहस सुनी थी।
आरोपितों का तर्क था कि उनके ऊपर लगाए गए आरोप निराधार हैं। तत्कालीन निगम आयुक्त विवेक सिंह ने तर्क दिया कि उन्होंने अपने अधिकार कार्यपालन यंत्री को हस्तांतरित कर दिए थे। ऐसे में उन्हें इसके लिए जिम्मेदार नहीं माना जा सकता है। लोकायुक्त पुलिस की ओर से पैरवी कर रहे विशेष लोक अभियोजक अरविंद श्रीवास्तव ने तर्क दिया कि विभाग के मुखिया होने के नाते आयुक्त की ही पूरी जिम्मेदारी है। अगर कहीं कोई गड़बड़ी की जा रही है, तो उसे रोकने का काम मुखिया का होता है। इनके खिलाफ भी पर्याप्त साक्ष्य हैं।
कोर्ट ने सभी पक्षों को सुनने के बाद आरोपितों के आवेदन खारिज कर दिए। उनके ऊपर लगाए गए आरोपों की सुनवाई के लिए 1 अक्टूबर को तलब किया है, जिससे केस का ट्रायल शुरू हो सके। ज्ञात हो कि इस मामले में 11 लोगों के खिलाफ भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम के तहत केस दर्ज है। लोकायुक्त पुलिस ने 12 फाइलों की जांच की है। शेष फाइलों को नगर निगम को जांच के लिए लौटा दिया था। 11 में से एक आरोपित की मौत हो चुकी है।
इनके खिलाफ पेश की चार्जशीट
2004 में तत्कालीन आयुक्त विवेक सिंह – कार्यपालन यंत्री व वर्तमान में बर्खास्त केके श्रीवास्तव – सेवानिवृत्त कार्यपालन यंत्री आरके बत्रा -सेवा निवृत्त सहायक यंत्री अजय पांडवीय – उपयंत्री सत्येंद्र सिंह भदौरिया -मान चित्रकार राजेन्द्र प्रसाद दीक्षित – सहायक मान चित्रकार कुसुमलता शर्मा – सहायक ग्रेड 3 हरि सिंह खैनवार – संचालक व;घळर्-ऊि्झर्।मान ट्यूबवेल मोहित जैन व रजत जैन -सुनील इंटर प्राइजेज के संचालक सुनील गुप्ता
Posted By: Hemant Kumar Upadhyay
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